वाराणसी: रामनगर में हुआ भव्य भारत मिलाप, चारों भाइयों का मिलन देख भावुक हुई भीड़
वाराणसी के रामनगर में आयोजित भारत मिलाप का मंचन सोमवार रात बेहद भव्य रूप से हुआ, जिसमें लाखों श्रद्धालु देर रात तक लीला स्थल पर मौजूद रहे। इस दौरान सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए, और पुलिस सतर्क दिखाई दी। राम और भारत के बीच अटूट प्रेम और विश्वास का प्रतीक यह लीला, भगवान राम के 14 वर्षों के वनवास के बाद सकुशल अयोध्या लौटने पर आधारित थी। भाइयों के बीच ऐसा प्रेम और त्याग कलयुग में दुर्लभ माना जाता है।
कथा के अनुसार, नंदीग्राम में बैठे भारत, श्रीराम की वापसी का बेसब्री से इंतजार कर रहे थे। जब वनवास समाप्त होने में एक दिन बचा था, उनकी दाहिनी आंख फड़कने लगी। तभी ब्राह्मण वेश में हनुमान जी उनके पास पहुंचे और राम की सकुशल अयोध्या वापसी का समाचार दिया। यह सुनकर भारत आनंदित हो उठे और गुरु वशिष्ठ तथा माताओं को यह खुशखबरी सुनाई। पूरी अयोध्या इस समाचार से उल्लास में झूम उठी।
सोमवार रात 11 बजे चौक में चारों भाइयों—राम, लक्ष्मण, भरत और शत्रुघ्न का मिलन हुआ। इस दृश्य को देखकर लीला प्रेमियों की आंखें भर आईं। श्री राम की जयकारों से पूरा वातावरण गूंज उठा। राम ने अयोध्या की महिमा का गुणगान करते हुए, अपने वानर और भालू साथियों का अयोध्या वासियों से परिचय कराया।
इसके बाद, गुरु वशिष्ठ ने सुमंत को राम के राज्याभिषेक की तैयारी करने का आदेश दिया। अयोध्या रामलीला मैदान में प्रभु राम की आरती संपन्न हुई, और पूरे नगर में उत्सव का माहौल छा गया।
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